भगवान गणेश को सबसे पहले क्यों पूजा जाता है?
भगवान गणेश को हिंदू धर्म में “विघ्नहर्ता” और “सिद्धिविनायक” के रूप में जाना जाता है, अर्थात् जो सभी बाधाओं को दूर करते हैं और सफलता प्रदान करते हैं। किसी भी शुभ कार्य, यज्ञ, पूजा या संस्कार की शुरुआत में सबसे पहले भगवान गणेश की पूजा की जाती है। यह परंपरा सदियों से चली आ रही है और इसके पीछे कई धार्मिक, आध्यात्मिक और सांस्कृतिक कारण हैं। आइए जानते हैं, भगवान गणेश को सबसे पहले क्यों पूजा जाता है।
1. विघ्नहर्ता और शुभता के प्रतीक
भगवान गणेश को विघ्नहर्ता कहा जाता है, जो हर प्रकार की बाधाओं को दूर करने की क्षमता रखते हैं। किसी भी कार्य में सफल होने के लिए बाधाओं से मुक्त होना आवश्यक है, इसलिए हर शुभ कार्य की शुरुआत गणेश जी के आशीर्वाद से की जाती है ताकि कार्य निर्विघ्न और सफल हो सके। उनकी पूजा से व्यक्ति को समृद्धि, शांति और सफलता मिलती है।
2. शास्त्रों में गणेश जी की महिमा
वेदों और पुराणों में उल्लेख मिलता है कि भगवान गणेश को प्रथम पूजनीय माना गया है। जब देवताओं ने भगवान शिव से पूछा कि किस देवता की पूजा पहले की जानी चाहिए, तब शिवजी ने गणेश जी को प्रथम पूज्य घोषित किया। इस कारण गणेश जी को हर पूजा और अनुष्ठान में सबसे पहले सम्मानित किया जाता है।
3. गणेश जी का जन्म और प्रथम पूज्यता
गणेश जी के जन्म की कथा के अनुसार, जब शिवजी ने गणेश जी का सिर काट दिया था, तब बाद में गणेश जी को हाथी का सिर देकर पुनर्जीवित किया गया। इसके बाद, भगवान शिव ने गणेश जी को आशीर्वाद दिया कि वे सभी देवताओं में प्रथम पूज्य होंगे, यानी किसी भी पूजा से पहले उनकी पूजा की जाएगी। यही कारण है कि वे हर शुभ कार्य की शुरुआत में पूजे जाते हैं।
4. बौद्धिक और आध्यात्मिक शक्ति के प्रतीक
भगवान गणेश को बुद्धि और ज्ञान के देवता के रूप में भी पूजा जाता है। जीवन में किसी भी कार्य में सफलता पाने के लिए बुद्धि और धैर्य की आवश्यकता होती है, और गणेश जी इन दोनों का आशीर्वाद प्रदान करते हैं। उनकी पूजा से न केवल बाहरी बाधाएं दूर होती हैं, बल्कि व्यक्ति मानसिक रूप से भी सशक्त होता है।
5. धार्मिक और सांस्कृतिक मान्यता
गणेश जी की पूजा की परंपरा केवल भारत में ही नहीं, बल्कि विश्वभर में फैली है। गणेश चतुर्थी जैसे प्रमुख त्योहारों के माध्यम से उनकी पूजा की जाती है। धार्मिक और सांस्कृतिक रूप से, गणेश जी को सबसे पहले पूजने की मान्यता गहरे अर्थों से जुड़ी है।
6. हर वर्ग के लिए प्रिय देवता
गणेश जी को हर वर्ग, जाति और समुदाय के लोग पूजते हैं। वे बच्चों, बड़ों और युवाओं सभी के लिए प्रिय हैं। उनके सरल और मृदु स्वभाव के कारण वे सभी के दिलों में बसे हुए हैं। उनकी पूजा करने से किसी भी व्यक्ति को शुभ फल प्राप्त होते हैं।
और यही वजह है कि…
भगवान गणेश की पूजा इसलिए सबसे पहले की जाती है क्योंकि वे सभी कार्यों को निर्विघ्न और सफल बनाने का आशीर्वाद देते हैं। उनकी कृपा से जीवन में आने वाली सभी बाधाओं का नाश होता है और बुद्धि, ज्ञान और समृद्धि की प्राप्ति होती है। इसलिए, हर शुभ कार्य की शुरुआत भगवान गणेश के नाम से होती है।
“गणपति बप्पा मोरया!” उनके आशीर्वाद से आपके जीवन में सुख, शांति और सफलता का संचार हो। DesiiNews
नवरात्रि के दिनवार रंग संयोजन 2024 DesiiNews
और देखें…
सर्बिया में बुराई से बचने के लिए ताबूत में सोने की अनोखी प्रथा
78% off Amazon Great Indian Sale
निकोलस बेडोस को यौन उत्पीड़न के मामले में एक साल की सजा, 6 महीने की सजा निलंबित
Elon Musk 1 Million Dollar Petition
चक्रवाती तूफान ‘दाना’ पश्चिम बंगाल और ओडिशा से पहले टकराएगा